अपनी बात
नामाबर के इस दूसरे अंक के आने के साथ देश का सामाजिक वातावरण थोड़ा और संकटग्रस्त हो गया है। 2014 में नरेंद्र मोदी की सरकार केंद्र में आने के बाद अभी तक हमने हाशिये के तमाम समुदायों के ऊपर लगातार…
आपकी बात
कवि जब प्रतिगामी युग धर्म घोंटता है वक़्त के उमड़ते बादलों का गला तब न ख़ून बहता है न आँसू। वज्र बन कर गिरती है बिजली उठता है वर्षा की बूंदों से तूफ़ान… पोंछती है माँ धरती अपने आँसू जेल…
1 जब राजा ने पेंदे के छेद से किया अग्नि का आवाहन! एक समय की बात है। धरती पर आर्यावर्त नामक देश में एक राजा हुआ करता था। राजा के राज्याभिषेक के बाद सदियों बाद ‘धर्म’ का राज स्थापित हुआ…
उनकी बात
शेतकर्याची आसुड (किसान का चाबुक)
जोतीराव (ज्योतिबा) फुले 19वीं सदी के भारत के अग्रणी चिंतक थे, जिन्होंने भारतीय समाज को सदियों से जकड़े जातिगत और स्त्री उत्पीड़न के ब्राह्मणवादी विचार के विरुद्ध संघर्ष को आधुनिक समता बंधुत्व स्वतंत्रता की जनवादी दृष्टि से वैचारिक-सैद्धांतिक आधार प्रदान…
उनकी बात
बाबा साहेब आम्बेडकर के अधिग्रहण की मुहिम के बाद अब भगवा ताकतों के निशाने पर प्रेमचंद हैं. आरएसएस के मुखपत्र ‘पांचजन्य’ ने अपने 5 अगस्त (2018) के अंक को प्रेमचंद पर केन्द्रित किया है. हिंदुत्व के रंग में रंगने की…
सबकी बात
पुणे के कोरेगांव भीमा में पेशवाओं के खिलाफ महारों के युद्ध की 200वीं जयन्ती के उत्सव के दौरान हुई हिंसा को लेकर जो मुकदमा दर्ज किया गया था उसके नाम पर दिल्ली सहित देश भर से पिछले दो महीनों के…
सबकी बात
एक ऐसा मनौवैज्ञानिक वातावरण तैयार किया जा रहा है जहां हर कोई गद्दार है!
सुधा भारद्वाज जैसे मानवाधिकार के कुछ सर्वाधिक विश्वसनीय पैरोकारों के यहां छापामारी और उनकी गिरफ्तारी भयाक्रांत करने वाला एक क्षण है। यह एक ऐसी कायराना, उच्श्रृंखल और दमनकारी राज्यसत्ता की निशानदेही है जो असहमतों को धमकाने के लिए कोई भी…
सबकी बात
पत्थरगढ़ी तो बहाना है, ‘किष्किन्धा’ असल निशाना है!
हाल ही में झारखण्ड में पत्थलगढ़ी के समर्थन में फेसबुक पर पोस्ट लिखने और शेयर करने को अपराध मानते हुए बीस प्रबुद्ध नागरिकों पर राजद्रोह के मुकद्दमे दर्ज होना ‘न्यू नार्मल’ की श्रेणी की परिघटना मान ली गयी और इसे…
सबकी बात
आरएसएस पर हमला करेंगे तो वह चुनाव प्रचार अभियान में बीजेपी को और जोरशोर से समर्थन देगा
वाल्टर एंडर्सन से बातचीत कुछ ही लोग होंगे जो आरएसएस को वाल्टर के. एंडर्सन के जितना जानते हों, जिन्होंने पांच दशक से ज्यादा वक्त इस दक्षिणपंथी संगठन पर अध्ययन करने में बिताया है और श्रीधर दामले के साथ मिलकर एक…
हाशिये की बात
कासगंज का सच: स्वतंत्र जांच दल ने उठाए पुलिस पर सवाल
बीती 29 अगस्त को दिल्ली के कांस्टीट्यूशन क्लब में कासगंज हिंसा को लेकर एक स्वतंत्र जांच रिपोर्ट जारी की गई। इस रिपोर्ट को वरिष्ठ पत्रकार अजित साही के नेतृत्व में तैयार किया गया है जिस पर कई जन और मानवाधिकार…
हाशिये की बात
दलित से शादी करके क़त्ल हुई ममता की अंतिम यात्रा में परिजन नहीं, महिलाएं आईं साथ
उसका नाम ममता था, उसने एक दलित युवक से प्रेम किया और फिर शादी भी कर ली। नतीजा जातिघृणा में डूबी हुई गोलियों ने उसका सीना छलनी कर दिया। घर वालों ने लाश से भी रिश्ता नहींं रखा। दो दिन…
हाशिये की बात
मलयाली लेखक एस. हरीश के समर्थन में इंडियन राइटर्स फोरम का संयुक्त बयान
हमारी सांस्कृतिक बिरादरी पर एक बार फिर गिरोहों का हमला हुआ है। अपने परिवार के खिलाफ हिंसक धमकियों की प्रतिक्रिया में मलयालम के लेखक एस. हरीश ने अपना उपन्यास मीसा (मूंछ) वापस ले लिया है जो धारावाहिक के रूप में…
मुल्क के बहाने : नेहरू के देश का मर्ज़
मेरे तकरीबन सभी दोस्तों ने मुल्क़ की सराहना की है कि वह एक दमदार मूवी है। मैं अब भी उसके उद्देश्य पर बहस किए जा रहा हूं। कहानी यों है कि बनारस के एक मोहल्ले में रहने वाले मुस्लिम बुजुर्गवार…
प्रख्यात मार्क्सवादी चिंतक और अर्थशास्त्री समीर अमीन बीते 13 अगस्त को पेरिस में गुज़र गए। उनका जन्म काहिरा में 3 सितंबर, 1931 को हुआ था। उनके पिता मिस्र के थे और उनकी मां फ्रेंच थीं। उनकी शुरुआती पढ़ाई-लिखाई मिस्र मे…